Petarwar-Gomia Road Irregularities : बोकारो जिले के गोमिया क्षेत्र में पेटरवार-गोमिया मुख्य सड़क की मरम्मत और कालीकरण का काम पथ निर्माण विभाग द्वारा लगभग तीन साल से चल रहा है। यह सड़क स्थानीय लोगों के लिए बहुत महत्वपूर्ण है क्योंकि इससे कई गांव और कस्बे जुड़े हुए हैं। लेकिन ग्रामीणों का कहना है कि इस काम में भारी अनियमितता बरती जा रही है। सड़क की मोटाई निर्धारित मानकों से कम रखी गई है और प्राक्कलन के अनुसार काम नहीं हो रहा। नतीजा यह कि कालीकरण के कुछ समय बाद ही जगह-जगह पिच उखड़ने लगी है।
ग्रामीण बताते हैं कि बारिश होते ही सड़क पर गड्ढे बन जाते हैं और पूरा हिस्सा फिर से खराब हो जाता है। ऐसे में कुछ ही दिनों में फिर मरम्मत की जरूरत पड़ती है। यह सिलसिला सालों से चल रहा है, जिससे लोगों को रोजाना परेशानी झेलनी पड़ती है। स्कूल जाने वाले बच्चे, अस्पताल जाने वाले मरीज और रोजगार के लिए बाहर जाने वाले लोग सबसे ज्यादा प्रभावित होते हैं। दुर्घटनाओं का खतरा भी बढ़ गया है क्योंकि गड्ढों में वाहन फंस जाते हैं या असंतुलित हो जाते हैं।

ठेकेदार और अधिकारियों की मिलीभगत का आरोप

स्थानीय ग्रामीणों ने सीधे तौर पर ठेकेदारों और विभागीय अधिकारियों पर मिलीभगत का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि काम के दौरान कोई जिम्मेदार अधिकारी मौके पर निगरानी करने नहीं आता। घटिया सामग्री का इस्तेमाल किया जाता है ताकि जल्दी खराब हो जाए और फिर से मेंटेनेंस का ठेका मिल सके। इससे ठेकेदार को बार-बार फायदा होता है, लेकिन जनता को नुकसान।
ग्रामीणों ने बताया कि काम बहुत धीमी गति से किया जा रहा है। समय सीमा की कोई परवाह नहीं की जाती। कई बार तो काम महीनों तक रुका रहता है और सड़क अधूरी पड़ी रहती है। इस वजह से धूल उड़ती है, कीचड़ जमता है और आने-जाने में भारी दिक्कत होती है। लोग कहते हैं कि करोड़ों रुपये का बजट आता है, लेकिन जमीनी स्तर पर कुछ नहीं दिखता। यह पैसा कहां जाता है, यह बड़ा सवाल है।
ग्रामीणों ने विधायक से की कार्रवाई की मांग
इस पूरे मामले को लेकर गोमिया के स्थानीय ग्रामीणों में काफी गुस्सा है। उन्होंने गोमिया विधायक और राज्य के मंत्री योगेंद्र प्रसाद से गुहार लगाई है कि इस अनियमितता की जांच कराई जाए और दोषियों पर सख्त कार्रवाई हो। ग्रामीण चाहते हैं कि सड़क का काम गुणवत्ता के साथ पूरा किया जाए ताकि बार-बार मरम्मत की नौबत न आए।
योगेंद्र प्रसाद गोमिया क्षेत्र के विकास के लिए जाने जाते हैं और हाल ही में मंत्री भी बने हैं। लोगों को उम्मीद है कि उनकी दखल से यह समस्या जल्द हल हो जाएगी। ग्रामीणों ने कहा कि अगर जल्द कोई कदम नहीं उठाया गया तो वे बड़ा आंदोलन करेंगे। सड़क जाम करके विरोध प्रदर्शन भी कर सकते हैं।
क्षेत्र में सड़क निर्माण की पुरानी समस्या

झारखंड के बोकारो जिले में सड़क निर्माण और मरम्मत की समस्याएं नई नहीं हैं। पहले भी कई सड़कों पर इसी तरह के आरोप लगे हैं। कुछ मामलों में तो नवनिर्मित सड़कें कुछ ही हफ्तों में उखड़ गईं और ग्रामीणों ने खुद हाथ से पिच उखाड़कर विरोध जताया। पेटरवार-गोमिया सड़क भी करीब 26 किलोमीटर लंबी है और इसका सुदृढ़ीकरण कई चरणों में हो रहा है। लेकिन गुणवत्ता न होने से विकास का फायदा लोगों तक नहीं पहुंच पा रहा।
ऐसे में जरूरत है कि विभाग सख्ती से निगरानी करे
ठेकेदारों की जवाबदेही तय हो और काम समय पर पूरा हो। अच्छी सड़कें ही क्षेत्र के विकास की नींव हैं। अगर सड़कें मजबूत नहीं होंगी तो शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार सब प्रभावित होते रहेंगे। उम्मीद करें कि विधायक और विभाग के अधिकारी इस शिकायत पर ध्यान देंगे और जल्द समाधान निकालेंगे। ताकि गोमिया के लोग राहत की सांस ले सकें।










