Raebareli News: दीवानी न्यायालय परिसर में पति का गंडासे से पत्नी पर जानलेवा हमला, वकीलों ने आरोपी को पकड़कर पुलिस के हवाले किया

Raebareli News: उत्तर प्रदेश के रायबरेली जिले के जनपद न्यायालय (दीवानी न्यायालय) परिसर में सोमवार को एक सनसनीखेज घटना ने सबको स्तब्ध कर दिया। एक पति ने अपनी पत्नी पर गंडासे (एक प्रकार का धारदार हथियार) से ताबड़तोड़ हमला कर दिया, जिससे महिला गंभीर रूप से घायल हो गई। घटनास्थल पर मौजूद वकीलों ने फौरन हामी भरी और आरोपी पति को पकड़कर जमकर पिटाई की, फिर उसे पुलिस के हवाले कर दिया। घायल महिला को तत्काल जिला अस्पताल पहुंचाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे भर्ती कर इलाज शुरू कर दिया है। इस घटना से न्यायालय परिसर में हड़कंप मच गया और अदालत की सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं।

घटना का विवरण: विवादित दंपति की पेशी के दौरान खूनी खेल

घटना शहर कोतवाली क्षेत्र के अंतर्गत स्थित जनपद न्यायालय परिसर में दोपहर करीब 12 बजे घटी। प्राप्त जानकारी के अनुसार, अमेठी जिले के जायस कस्बे के पूरे कुमेदान का पुरवा गांव निवासी एक महिला (नाम गोपनीय) का अपने पति मिथुन से लंबे समय से पारिवारिक विवाद चल रहा था। यह विवाद तलाक और संपत्ति बंटवारे से जुड़ा बताया जा रहा है। महिला ने अपने पति के खिलाफ कोर्ट में केस दायर किया था और सोमवार को वह अपने वकील से मिलने तथा पेशी के सिलसिले में रायबरेली कोर्ट पहुंची थी।

महिला जैसे ही वकील से बातचीत कर रही थी, तभी पीछे से उसका पति मिथुन अचानक प्रकट हो गया। गुस्से से भरा मिथुन ने जेब से छिपाकर रखा गंडासा निकाला और महिला पर कई वार कर दिए। हमले में महिला के सिर और ऊपरी शरीर पर गंभीर चोटें आईं, जिससे वह खून से लथपथ होकर जमीन पर गिर पड़ी। चीख-पुकार सुनते ही आसपास के वकील और स्टाफ दौड़ पड़े। एक वकील ने महिला को बचाने की कोशिश में आरोपी के हाथों चोट भी खाई। बाकी वकीलों ने मिथुन को मौके पर ही दबोच लिया और उसकी जमकर धुनाई की। इसके बाद आरोपी को शहर कोतवाली पुलिस के हवाले कर दिया गया।

जिला अस्पताल में भर्ती: डॉक्टर ने बताई महिला की हालत

घायल महिला को फौरन रायबरेली के जिला अस्पताल ले जाया गया, जहां उसे तत्काल भर्ती कर दिया गया। अस्पताल में तैनात चिकित्सक डॉ. अनुराग शुक्ला ने बताया, “महिला के सिर पर गंभीर चोटें आई हैं, जिसमें खोपड़ी में फ्रैक्चर और गहरा घाव शामिल है। हमने उसे इमरजेंसी में भर्ती किया है और सर्जरी की तैयारी चल रही है। उसकी हालत नाजुक बनी हुई है, लेकिन हम पूरी कोशिश कर रहे हैं। परिवार को सूचित कर दिया गया है।” डॉ. शुक्ला ने आगे कहा कि अगर समय पर इलाज मिल जाता है, तो महिला की जान बचाई जा सकती है, लेकिन अभी खतरा बना हुआ है।

वकीलों का साहस: ‘हमने तुरंत कार्रवाई की, सुरक्षा पर सवाल’

घटना के प्रत्यक्षदर्शी वकीलों ने बताया कि कोर्ट परिसर में सुरक्षा के नाम पर केवल एक गेटकीपर और दो चौकीदार थे, कोई (मेटल डिटेक्टर) या सशस्त्र गार्ड नहीं। एक वकील ने नाम न छापने की शर्त पर कहा, “हमने देखा कि आरोपी हथियार लेकर अंदर घुस गया। अगर हम नहीं होते, तो महिला की जान जा सकती थी। अदालत की सुरक्षा व्यवस्था को तुरंत मजबूत करने की जरूरत है।” वकील बार एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने जिला प्रशासन से मांग की है कि कोर्ट में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं और सिक्योरिटी बढ़ाई जाए।

पुलिस की कार्रवाई: आरोपी पर हत्या का प्रयास का केस

शहर कोतवाली प्रभारी निरीक्षक ने बताया कि आरोपी मिथुन के खिलाफ आईपीसी की धारा 307 (हत्या का प्रयास) और डाउन (एससी/एसटी एक्ट) के तहत मामला दर्ज कर लिया गया है। “आरोपी को गिरफ्तार कर पूछताछ की जा रही है। प्रारंभिक जांच में पता चला है कि दंपति का विवाद कई महीनों से चल रहा था। हम पूरी घटना की जांच कर रहे हैं।” पुलिस ने कोर्ट परिसर के आसपास के सीसीटीवी फुटेज भी खंगाले हैं।

पारिवारिक विवादों का कोर्ट में खूनी मोड़

यह घटना रायबरेली में पारिवारिक विवादों के बीच हिंसा की बढ़ती प्रवृत्ति को उजागर करती है। पिछले कुछ वर्षों में जिले में कई ऐसी घटनाएं सामने आ चुकी हैं, जहां कोर्ट पेशी के दौरान ही पति-पत्नी के बीच झड़पें हिंसक हो गईं। विशेषज्ञों का मानना है कि तलाक और दहेज जैसे मामलों में तनाव बढ़ने से ऐसी घटनाएं आम हो रही हैं। सामाजिक कार्यकर्ताओं ने मांग की है कि महिलाओं के लिए कोर्ट में विशेष सुरक्षा इकाई गठित की जाए।

जिला मजिस्ट्रेट और एसएसपी ने घटना पर संज्ञान लेते हुए उच्चाधिकारियों को रिपोर्ट भेज दी है। फिलहाल, महिला के परिवार वाले अस्पताल में डटे हुए हैं और न्याय की मांग कर रहे हैं। यह घटना न केवल एक परिवार की त्रासदी है, बल्कि पूरे समाज के लिए एक चेतावनी भी।

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