Varanasi Illegal Plotting Demolition: वाराणसी विकास प्राधिकरण (वीडीए) ने शहर को अनियोजित विकास से बचाने के लिए बड़ा कदम उठाया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र में अवैध प्लाटिंग और निर्माण पर सख्ती दिखाते हुए वीडीए ने एक पखवाड़े में रिकॉर्ड तोड़ कार्रवाई की है। लगभग 250 बीघा से ज्यादा जमीन पर की गई अवैध प्लाटिंग को बुलडोजर से ध्वस्त कर दिया गया। यह वीडीए के इतिहास में अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई मानी जा रही है।
पांच जोनों में 10 टीमों ने चलाया बुलडोजर/Varanasi Illegal Plotting Demolition
वीडीए ने शहर के पांच अलग-अलग जोनों में 10 टीमों का गठन किया। इन टीमों ने मिलकर एक पखवाड़े के अंदर 250 बीघा से अधिक भूमि पर अवैध तरीके से काटे गए प्लाटों की बाउंड्री वॉल, सड़कें और अन्य निर्माणों को पूरी तरह जमींदोज कर दिया। इस कार्रवाई से अवैध प्लाटिंग करने वालों में हड़कंप मच गया है। कई कालोनाइजर रातोंरात गायब हो गए, जबकि कुछ ने अपनी गलती मानते हुए वैध प्रक्रिया अपनाने की बात कही।

वीडीए अब ड्रोन का इस्तेमाल कर रहा है। ड्रोन से पूरे शहर पर नजर रखी जा रही है ताकि कोई भी अवैध प्लाटिंग या निर्माण छिप न सके। उपाध्यक्ष पूर्ण बोरा ने साफ कहा कि पीएम के क्षेत्र में अवैध गतिविधियों को बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
उपाध्यक्ष पूर्ण बोरा की सख्त चेतावनी
वीडीए के उपाध्यक्ष पूर्ण बोरा (आईएएस) ने प्रेस को बताया कि यह कार्रवाई लगातार जारी रहेगी। उन्होंने कहा, “अगर कहीं भी अवैध प्लाटिंग हो रही है तो लोग सीधे हमें सूचना दें। हम आपकी शिकायत को पूरी तरह गोपनीय रखेंगे और तुरंत कार्रवाई करेंगे।”
उन्होंने वीडीए कर्मचारियों को भी चेताया कि अगर कोई कर्मचारी अवैध प्लाटिंग में शामिल पाया गया तो उसके खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई होगी। बोरा ने कहा कि बुलडोजर अभियान सिर्फ सजा देने के लिए नहीं है, बल्कि शहर को सुव्यवस्थित बनाने के लिए है। अवैध कालोनियों में सड़क, पानी, बिजली जैसी मूलभूत सुविधाएं नहीं पहुंच पातीं, जिससे आम लोग परेशान होते हैं।
अवैध प्लाटिंग के नुकसान और वैध बनने का मौका
उपाध्यक्ष ने समझाया कि अनियोजित विकास से भ्रष्टाचार बढ़ता है। अवैध कालोनी में अगर कार्रवाई होती है तो प्लाट खरीदने वाले का पैसा डूब जाता है। कई कालोनाइजर सस्ती जमीन का लालच देकर लोगों को ठगते हैं। इसलिए प्लाट खरीदने से पहले वीडीए से जांच कर लें कि वह वैध है या नहीं।
अच्छी खबर यह है कि वीडीए अवैध प्लाटिंग करने वालों को वैध होने का मौका दे रहा है। अगर कोई प्लाटर वैध लेआउट के लिए आवेदन करता है तो एक सप्ताह में स्वीकृति मिल जाएगी। वैध होने पर उसी कालोनी में विकास शुल्क से सड़क, ड्रेनेज और अन्य सुविधाएं तुरंत बनाई जाएंगी। इससे जमीन मालिक और खरीदार दोनों को फायदा होगा।
अनियोजित विकास क्यों खतरनाक है
पूर्ण बोरा ने कहा कि अवैध प्लाटिंग को तोड़ने का मकसद किसी को परेशान करना नहीं है। बल्कि लोगों को अच्छी सुविधाएं मिलें, इसके लिए ऐसा किया जा रहा है। अवैध कालोनियों में वीडीए और नगर निगम विकास कार्य नहीं कर पाते। नतीजा यह होता है कि रहने वाले लोग बुनियादी जरूरतों से वंचित रह जाते हैं। साथ ही, ऐसे इलाकों में भ्रष्टाचार पनपता है। कई अपार्टमेंट और कमर्शियल बिल्डिंग के बेसमेंट में अवैध कारोबार चलाने की शिकायतें भी मिली हैं, जिन पर भी कार्रवाई होगी।
लोगों से अपील,सतर्क रहें
वीडीए उपाध्यक्ष ने सभी लोगों से अपील की है कि सस्ते प्लाट के चक्कर में न पड़ें। पहले वीडीए से कन्फर्म करें कि प्लाट वैध है। अगर अवैध पाया गया तो बुलडोजर चलेगा और पैसा डूब जाएगा। शहर का सुनियोजित विकास सबके हित में है। वाराणसी को स्मार्ट और सुंदर बनाने के लिए सभी का सहयोग जरूरी है।
यह कार्रवाई वाराणसी के लोगों के लिए एक बड़ा संदेश है। अवैध गतिविधियां अब नहीं चलेंगी। वीडीए की सख्ती से शहर का विकास तेजी से होगा और आम जनता को बेहतर सुविधाएं मिलेंगी। अगर आप भी कोई अवैध प्लाटिंग देखते हैं तो बेझिझक शिकायत करें – आपकी पहचान गुप्त रहेगी।










