रायबरेली की राजनीति में नई हलचल, तस्वीर वायरल होने से अटकलों का बाजार गरम
राजनीति में अक्सर कहा जाता है कि यहां रिश्तों से ज्यादा विचारधाराएं अहम होती हैं, लेकिन रायबरेली में जो नजारा सामने आया, उसने सियासी हलकों में खूब हलचल मचा दी। दरअसल, मामला उद्यान मंत्री दिनेश प्रताप सिंह और उनके बेटे हरचंदपुर ब्लॉक प्रमुख पियूष प्रताप सिंह का है। जब कुछ दिन पहले मंत्री ने राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को लेकर बेहद तीखे शब्दों का इस्तेमाल किया था। उन्होंने इंदिरा गांधी तक पर विवादित टिप्पणी की और प्रेस वार्ता में राहुल को चोर का नाती कह डाला थ। यही नहीं, राहुल गांधी के रायबरेली पहुंचने पर खुद हाईवे पर धरना देकर नारेबाजी की। ऐसे में माहौल पहले ही गरमा चुका था।
इसी बीच अगले दिन जिला कलेक्ट्रेट में हुई दिशा मीटिंग में अचानक तस्वीरें बदल गईं। मीटिंग में मौजूद राहुल गांधी से ब्लॉक प्रमुख पियूष प्रताप सिंह ने हाथ मिलाया। इतना ही नहीं, उन्होंने खुद ही इस तस्वीर को अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर शेयर की।
देखते-ही-देखते तस्वीर वायरल हो गई और जिले की राजनीति में हलचल मच गई। इसके बाद लोगों ने सवाल उठाना शुरू कर दिया कि जब पिता खुलेआम कांग्रेस और गांधी परिवार पर हमलावर हैं, तो बेटे ने आखिर ऐसा क्यों किया? क्या यह सिर्फ एक औपचारिकता थी या फिर कोई नया सियासी संकेत?
वहीं, पियूष प्रताप सिंह ने तस्वीर पर उठ रहे सवालों का जवाब भी दिया। उन्होंने कहा कि मैं अपने संस्कारी पिता का संस्कारी बेटा हूं। राजनीतिक मतभेद हो सकते हैं, लेकिन मनभेद नहीं। राहुल गांधी हमारे सांसद हैं और उनका सम्मान करना मेरा फर्ज है। यह सिर्फ औपचारिकता थी, इससे ज्यादा कुछ नहीं।
हालांकि, पियूष की सफाई के बाद भी अटकलें थमी नहीं। सियासी विश्लेषकों का कहना है कि पियूष अपनी एक अलग पहचान बनाना चाहते हैं। शायद इसी कारणवश उन्होंने सार्वजनिक मंच पर राहुल गांधी से हाथ मिलाने में हिचक नहीं दिखाई। वहीं, सोशल मीडिया पर इस तस्वीर को लेकर तरह-तरह की प्रतिक्रियाएं आ रही हैं। कुछ लोग इसे पिता-पुत्र के बीच सियासी मतभेद का संकेत मान रहे हैं, तो कुछ इसे सामान्य औपचारिकता बता रहे हैं।