विकास की यह भी तस्वीर…शौच के लिए स्कूल से घर की दौड़
रिपोर्ट : पवन पाटीदार
सरकार के तमाम प्रयासों के बाद भी सरकारी स्कूलों की कार्यशैली व मानसिकता में तनिक भी बदलाव नहीं दिख रहा है। स्कूलों में लाखों रुपये खर्च कर बनाए गए शौचालयों की स्थिति बद से बदतर है। कहीं शौचालय पूरी तरह से जर्जर स्थिति में है, तो कहीं पानी की कमी के कारण इनकी उपयोगिता सिद्ध नहीं हो पा रही है। यह हाल है एकीकृत शासकीय हाई स्कूल निपानिया तुला का। जहां करीब 175 छात्र-छात्राएं एवं स्कूल स्टाफ के लिए एक बाथरूम व शौचालय है वह भी पूरी तरह से जर्जर स्थिति में है। स्कूल में शौचालय और बाथरूम की कमी एक गंभीर समस्या है, जिससे छात्रों को परेशानी हो सकती है। इससे छात्रों को स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हो सकती हैं। स्कूल में छात्रों की संख्या अधिक होने के कारण, मौजूदा शौचालय अपर्याप्त हो जाते हैं। स्कूलों में शौचालय और बाथरूम की कमी को दूर करने के लिए, सरकार और स्कूल प्रबंधन को मिलकर काम करना होगा। बताते चले कि पत्रिका टीम के द्वारा सारंगपुर विकासखंड के अंतर्गत आने वाले एकीकृत शासकीय हाई स्कूल निपानिया तुला परिसर में देखा गया, जहां शासकीय माध्यमिक विद्यालय परिसर में पढ़ने वाले छात्र छात्राओं के लिए मूलभूत आवश्यकताओं की कमी है। जिसके अंतर्गत विद्यालय में बाथरूम शौचालय एवं फर्नीचर की कमी है।

ऐसे में मुख्य रूप से छात्राओं को बाथरूम शौचालय के लिए बड़ी समस्या आ रही है, साथ ही पढ़ने वाले बच्चों के लिए स्कूल में फर्नीचर की व्यवस्था भी नहीं है बच्चों को नीचे बैठना पड़ता है। ऐसे में बच्चे मूलभूत सुविधाओं के अभाव में ही शिक्षा ग्रहण करने को मजबूर हैं। एक तो एकीकृत शासकीय हाई स्कूल निपानिया तुला स्कूल में शौचालय की कमी है। वहीं दूसरी ओर विद्यालय भवन जर्जर है। जिससे बारिश के मौसम में कभी भी हादसा हो सकता है। तहसील मुख्यालय से इस स्कूल की दूरी 25 किमी है। फिर भी इस स्कूल की देखरेख करने में प्रशासनिक अफसर फेल ही साबित हुए हैं। शौचालय की आवश्यकता सभी बच्चों की बुनियादी और जैविक जरूरत है। बच्चे स्कूल में 5 से 6 घंटे बिताते हैं. ऐसे में शौचालय नहीं होने से उन्हें कई तरह की परेशानी से जूझना पड़ता है।

इसको लेकर एकीकृत शासकीय हाई स्कूल निपानिया तुला के प्राचार्य महेश नागर का कहना है कि एकीकृत शासकीय हाई स्कूल निपानिया तुला में बाथरूम शौचालय एवं फर्नीचर की कमी है। इसको लेकर हमने शिक्षा विभाग को विगत वर्षों में पत्र लिखकर अवगत करवा दिया है। शासकीय हाई स्कूल निपानिया तुला में बाथरूम शौचालय की कमी को लेकर शासन स्तर पर मेरी चर्चा हुई। मेरे द्वारा अधिकारियों को बताया गया है कि स्कूल में बाथरूम शौचालय की काफी कमी है। स्कूल में बाथरूम शौचालय बना दिया जाए ताकि छात्र-छात्राओं को कोई परेशानी ना आए। इधर निपानिया तुला के सरपंच पीरुलाल मालवीय का कहना है कि जो मुझे जानकारी मिली है कि एकीकृत शासकीय हाई स्कूल निपानिया तुला में बाथरूम शौचालय की कमी है तो मैं उसे दिखवा लूंगा।