मध्यप्रदेश में जल जीवन मिशन के तहत बहुत ही सघनता से काम हो रहा है। सौ फीसदी घरों में सुरक्षित एवं कार्यशील घरेलू नल कनेक्शन के लिए बुरहानपुर जिले को राष्ट्रीय स्तर पर पुरस्कार मिल चुका है। लक्ष्यों की ओर बढ़ते हुए यह सुनिश्चित करना जरूरी है, कि सुरक्षित जल प्रदाय व्यवस्था में स्थायित्व हो। इस दिशा में चिंतन के लिए अटल बिहारी वाजपेयी सुशासन और नीति विश्लेषण संस्थान, भोपाल में आज स्वैच्छिक संस्थाओं और विकास एजेंसियों के बीच संवाद का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का आयोजन समर्थन संस्था ने वाटर एड इंडिया, परमार्थ सहित अन्य संस्थाओं एवं विकास एजेंसियों के साथ किया। इस अवसर पर मध्यप्रदेश शासन की लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी मंत्री श्रीमती संपतिया उइके एवं विभिन्न विभागीय अधिकारियों के साथ-साथ जमीनी स्तर पर कार्यरत सरकारी कर्मचारी एवं जमीनी कार्यकर्ता भी शामिल हुए।
लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी मंत्री श्रीमती संपतिया उइके ने इस अवसर पर कहा कि जहां स्वयंसेवी संस्थाओं एवं स्वैच्छिक संस्थाओं की सहभागिता रही है, वहां योजना का संचालन सफलतापूर्वक हो रहा है। डीपीआर बनाने में स्थानीय समुदाय एवं संस्थाओं का सहयोग लिया जाए, ताकि संचालन में कोई कमी न रह पाए। समर्थन के कार्यकारी निदेशक डॉ. योगेश कुमार ने कहा कि जल जीवन मिशन का लक्ष्य सभी घरों तक सुरक्षित एवं कार्यशील घरेलू नल कनेक्शन देने के साथ-साथ इसमें स्थायित्व लाना भी जरूरी है। इसके लिए सहभागिता एवं विकेन्द्रीकृत व्यवस्था जरूरी है। नीतिगत प्रावधानों एवं जमीनी अनुभवों और चुनौतियों को समझने के बाद जो मुद्दे निकलकर आएंगे, उस पर आगे कार्य करने की जरूरत है। वाटर एड इंडिया के मुख्य कार्यकारी वी.के. माधवन ने कहा कि वाटर सिक्योर विलेज के लिए हर संभव प्रयास करने होंगे। परामर्थ के सचिव डॉ. संजय सिंह ने कहा कि समुदाय की सहभागिता से स्थायित्व को हासिल किया जा सकता है। आगा खान फाउंडेशन के वाश एंड हेल्थ डायरेक्टर असद उमर ने कहा कि हमें जलवायु परिवर्तन की स्थितियों को समझना होगा और स्थायित्व के लिए वाटर रिचार्ज एवं कैचमेंट को बेहतर करने जैसे पहलुओं की ओर भी ध्यान देना होगा। कार्यक्रम में जमीनी अनुभवों एवं अध्ययनों को भी साझा किया गया।
जल जीवन मिशन के वायदे एवं प्रदर्शन पर जन संवाद आज
जल जीवन मिशन के वायदे एवं प्रदर्शन को लेकर प्रशासन अकादमी, भोपाल में कल 6 फरवरी को सुबह 10:30 बजे से जन संवाद का आयोजन किया जाएगा। इसमें प्रदेश भर से 150 से ज्यादा जमीनी कार्यकर्ता शामिल होंगे, जो जल जीवन मिशन के तहत गांव एवं कस्बों में सुरक्षित जल प्रदाय के लिए कार्य कर रहे हैं। इनमें से कई महिलाओं ने अनुकरणीय कार्य किए है, जिसकी सराहना राष्ट्रीय स्तर पर हुई है। मंत्री एवं विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारियों के समक्ष पहले दिन उभरकर आए मुद्दों एवं चुनौतियों के साथ-साथ जमीनी अनुभवों को साझा किया जाएगा, ताकि चुनौतियों का समाधान करते हुए जल जीवन मिशन के काम को आगे बढ़ाया जा सके।