ब्यूरो रिपोर्ट रीवा
मध्य प्रदेश के रीवा में नौ साल की बच्ची के साथ बलात्कार और हत्या की जांच कर रही पुलिस को पता चला है कि उसके किशोर भाई ने मोबाइल पर अश्लील वीडियो देखने के बाद उसका यौन उत्पीड़न किया और फिर उसकी हत्या कर दी।
पुलिस को जांच में यह भी पता चला कि किशोरी की मां और दो बड़ी बहनों ने मामले को दबाने में मदद की थी। पुलिस ने शनिवार को बताया कि 50 लोगों से पूछताछ, आरोपियों से गहन पूछताछ और तकनीकी साक्ष्यों तथा पीड़ित लड़की के 13 वर्षीय भाई, उसकी मां और 17 व 18 वर्षीय बहनों की निशानदेही पर मामले को सुलझाया गया हिरासत में ले लिया गया।
पुलिस अधीक्षक विवेक सिंह ने मामले की जानकारी देते हुए बताया कि इसी साल अप्रैल में जवा थाना क्षेत्र में नौ साल की बच्ची के साथ दुष्कर्म कर उसकी गला घोंटकर हत्या कर दी गई थी, जिसके बाद पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की थी। उन्होंने बताया कि पीड़िता का शव उसके घर के आंगन से बरामद किया गया, जहां वह घटना के समय सो रही थी। उन्होंने बताया कि परिजनों से गहन पूछताछ के बाद पता चला कि पीड़िता का 13 वर्षीय भाई रात में उसके साथ सोया था।
एक किशोर लड़के ने अपने मोबाइल फोन पर अश्लील वीडियो देखने के बाद अपनी बहन के साथ बलात्कार किया। उन्होंने बताया कि जब पीड़िता ने यह बात अपने पिता को बताने की धमकी दी तो लड़के ने उसका गला घोंट दिया और बाद में अपनी मां को जगाकर पूरी कहानी बता दी। उन्होंने बताया कि जब मां ने देखा कि पीड़िता अभी जीवित है तो आरोपी ने फिर से उसका गला घोंट दिया। उन्होंने बताया कि इस बीच किशोर की दो बड़ी बहनें भी जाग गईं और पुलिस को सूचना देने से पहले ही उन्होंने जांच को गुमराह करने के लिए अपना बिस्तर बदल लिया।
विवेक सिंह ने बताया कि हालांकि, बार-बार पूछताछ के बाद आखिरकार उसने अपना अपराध कबूल कर लिया। अधिकारी ने बताया कि लड़के, उसकी दो बहनों और उसकी मां को हिरासत में लेकर आगे की कानूनी कार्रवाई की जा रही है। सिंह ने बताया, “पुलिस को 24 अप्रैल की सुबह सूचना मिली कि लड़की का शव घर के आंगन में पड़ा है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में दुष्कर्म और हत्या से जुड़े साक्ष्य मिले और जांच के लिए एसआईटी टीम गठित की गई।” उन्होंने कहा कि जांचकर्ताओं को गुमराह करने के लिए परिवार के सदस्यों ने पुलिस को बताया था कि लड़की की मौत किसी जहरीले कीड़े के काटने से हुई थी।
उन्होंने बताया कि जांच में पता चला है कि घर में किसी के घुसने का कोई संकेत नहीं है और परिवार के सदस्यों ने भी रात में कोई आवाज सुनने से इनकार किया है। एसपी ने बताया, “तकनीकी साक्ष्य जुटाने और 50 लोगों से पूछताछ के बाद पुलिस को परिवार के सदस्यों के बयानों में बार-बार बदलाव देखने को मिला। संदेह के आधार पर उनसे गहनता से पूछताछ की गई, जिसके बाद उन्होंने अपना अपराध कबूल कर लिया।”